नई दिल्ली, राष्ट्रबाण। कोचिंग सेंटर में हुए हादसे के कारण इस वक्त दिल्ली में हंगामा मचा हुआ है। सड़कों पर कोचिंग संस्थान के स्टूडेंट प्रदर्शन कर रहे हैं। सियासी गलियारों में इस मुद्दे पर आरोप-प्रत्यारोप जारी हैं, तो वहीं पुलिस ने कोचिंग सेंटर के मालिक अभिषेक गुप्ता और कोऑर्डिनेटर देशपाल सिंह को गिरफ्तार कर लिया है। राव कोचिंग सेंटर में शनिवार शाम एक बड़ा हादसा हुआ, बारिश की वजह से सड़क पर जमा पानी बेसमेंट की लाइब्रेरी में घुस गया, जिसमें तीन छात्रों की मौत हो गई, जिसमें दो छात्राएं और एक छात्र शामिल हैं।
मोटी फीस वाला सेंटर
देश के सबसे कठिन एग्जामों में से एक यूपीएससी की तैयारी करने के लिए लाखों की संख्या में छात्र-छात्रा दिल्ली के कोचिंग संस्थानों में आते हैं। यह मोटी फीस वाला सेंटर है। यहां फीस लाखों में है। यहां ऑफलाइन जनरल स्टडीज (प्री-मेन्स) की कोचिंग की फीस 175500 रु(ऑफलाइन) और ऑनलाइन कोर्स की फीस 95500 रु है। सोचकर देखिए जहां एक छात्र-छात्रा इतनी फीस भरता है, वहां की लाइब्रेरी बेसमेंट में हैं।
सरकार से जवाबदेही की मांग की
इस घटना के खिलाफ में पुराने राजिंदर नगर में छात्रों ने रोड पर बैठकर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की और जल्द से जल्द इंसाफ की मांग की। पुलिस ने प्रदर्शन कर रहे कुछ छात्रों को हिरासत में ले लिया है। इसके अलावा भारी संख्या में पुलिस को मेट्रो स्टेशन पर तैनात किया गया है।
मेयर की तस्वीर पर स्याही पोत दी
इस दौरान छात्रों ने सरकार से घटना पर जवाबदेही की मांग की है। इसके अलावा एबीवीपी ने दिल्ली की मेयर शेली ओबेरॉय के आवास के बाहर विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के दौरान दिल्ली मेयर की तस्वीर पर काली स्याही पोत दी।
छात्रों ने बताई मजबूरी
प्रदर्शन करने वाले छात्रों ने बताया कि यहां पर सुविधाओं के नाम पर केवल लोगों को ठगा जाता है। न तो यहां पर ठीक से बैठने की सुविधाएं हैं, न ही पर्याप्त वॉशरूम में हैं। स्टूडेंट्स यहां पर पढ़ने के लिए आते हैं, इसलिए वो ज्यादा शिकायत नहीं कर पाते, क्योंकि ऐसा करने से उन्हें टीचरों से डांट पड़ती है। इसी कारण वो उसी वातावरण में ढ़ल जाते हैं।
जांच के लिए कई टीम गठित
एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा कि पूरी घटना की जांच के लिए कई टीम गठित की गई हैं। हमने दिल्ली दमकल सेवा से उस इमारत और बेसमेंट के बारे में रिपोर्ट उपलब्ध कराने के लिए कहा है, जिसका उपयोग एक पुस्तकालय के रूप में किया जा रहा था, लेकिन उसे भंडार कक्ष (स्टोर रूम) बताया गया था।