कटनी, राष्ट्रबाण: मध्य प्रदेश के कटनी जिले में एक ऐसी घटना सामने आई है, जिसने सबको चौंका दिया। कामायनी एक्सप्रेस ट्रेन में एक जागरूक यात्री की सूचना ने बड़ा खुलासा किया। रेल पुलिस और बाल संरक्षण इकाई ने मिलकर 5 मासूम बच्चों को मानव तस्करी के जाल से बचा लिया। इन बच्चों को मुंबई ले जाकर बालश्रम कराने की साजिश थी। पुलिस ने आरोपी को मौके पर ही गिरफ्तार कर लिया। इस कार्रवाई की हर तरफ तारीफ हो रही है।
कैसे हुआ रेस्क्यू?
देर रात करीब 11:45 बजे चाइल्ड लाइन नंबर 1098 पर एक यात्री ने कॉल करके बताया कि कामायनी एक्सप्रेस में एक शख्स संदिग्ध तरीके से 5 बच्चों को साथ ले जा रहा है। इस यात्री ने न सिर्फ सूचना दी, बल्कि उस शख्स की तस्वीरें और वीडियो भी भेजे। सूचना मिलते ही बाल संरक्षण अधिकारी मनीष तिवारी और रेल पुलिस के थाना प्रभारी वीरेंद्र सिंह अपनी टीम के साथ मुड़वारा रेलवे स्टेशन पहुँचे। जैसे ही रात 12:30 बजे ट्रेन प्लेटफॉर्म नंबर 1 पर रुकी, पुलिस ने तेजी से कार्रवाई की। बच्चों को सुरक्षित निकाला गया और आरोपी को हिरासत में ले लिया गया। ट्रेन में मौजूद लोग इस कार्रवाई को देखकर दंग रह गए।
कौन है आरोपी?
पुलिस ने बताया कि गिरफ्तार आरोपी का नाम सतीश साहू है, जो उत्तर प्रदेश के बलिया जिले का रहने वाला है। वो इन बच्चों को मुंबई के आर्टिफिशियल ज्वैलरी कारखाने में काम कराने के लिए ले जा रहा था। उसने बच्चों के परिवार वालों को 16 हजार रुपये एडवांस और हर महीने 6 हजार रुपये देने का लालच दिया था। रेस्क्यू किए गए बच्चों की उम्र 11 से 15 साल के बीच है। ये बच्चे गरीब परिवारों से थे, जिन्हें पैसों के लालच में तस्करी का शिकार बनाया जा रहा था।
बच्चों का क्या हुआ?
रेस्क्यू किए गए बच्चों को बाल कल्याण समिति के आदेश पर सुरक्षित बाल गृह में रखा गया है। पुलिस ने आरोपी सतीश साहू के खिलाफ धारा 105 के तहत मामला दर्ज किया है और उससे पूछताछ जारी है। रेल पुलिस का कहना है कि गरीब परिवारों को निशाना बनाकर अक्सर ऐसे तस्कर नाबालिग बच्चों को बहला-फुसलाकर ले जाते हैं और उनसे बालश्रम करवाते हैं। इस बार एक जागरूक यात्री की सूझबूझ और पुलिस की तेज कार्रवाई ने 5 बच्चों की जिंदगी बचा ली।
लोगों में गुस्सा, माँग रहे सख्त सजा
इस घटना के बाद स्थानीय लोग और रेल यात्रियों में गुस्सा है। लोगों का कहना है कि ऐसे तस्करों को कड़ी से कड़ी सजा मिलनी चाहिए, ताकि भविष्य में कोई और ऐसी हिम्मत न करे। साथ ही, रेल पुलिस और उस जागरूक यात्री की तारीफ हो रही है, जिनकी वजह से ये कार्रवाई मुमकिन हो सकी।
Read also: मध्य प्रदेश के खंडवा जिले में भ्रष्टाचार का अनोखा रिकॉर्ड, गिनीज बुक में नाम होगा दर्ज

