NDA कार्यकर्ता सम्मेलन में हंगामा, मंत्री सुमित सिंह और पूर्व MLC संजय प्रसाद के समर्थक भिड़े, मारपीट का वीडियो वायरल

Rahul Maurya

    जमुई, राष्ट्रबाण: बिहार की राजनीति में एक बार फिर आंतरिक कलह का नजारा देखने को मिला। जमुई जिले के चकाई विधानसभा क्षेत्र में शनिवार को आयोजित NDA कार्यकर्ता सम्मेलन के दौरान जमकर हंगामा हो गया। नीतीश सरकार में मंत्री सुमित सिंह और JD(U) के पूर्व MLC संजय प्रसाद के बीच बहस इतनी बढ़ गई कि उनके समर्थकों में हाथापाई और मारपीट शुरू हो गई।

    मंच पर NDA के वरिष्ठ नेता मौजूद थे, लेकिन हालात बेकाबू होते देख पुलिस और स्थानीय नेताओं को बीच-बचाव करना पड़ा। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। आइए, इस पूरे विवाद की डिटेल सरल भाषा में समझते हैं।

    सम्मेलन में बहस से शुरू हुआ विवाद

    चकाई विधानसभा क्षेत्र में NDA का कार्यकर्ता सम्मेलन आयोजित किया गया था, जिसका मकसद गठबंधन को मजबूत करना था। लेकिन मंच पर सुमित सिंह और संजय प्रसाद के बीच बहस छिड़ गई। सुमित सिंह, जो निर्दलीय विधायक हैं और नीतीश कुमार सरकार को समर्थन देकर मंत्री बने, उनके समर्थक लगातार नारेबाजी कर रहे थे।

    इससे संजय प्रसाद, जो JD(U) के टिकट पर चकाई से चुनाव लड़ चुके हैं, नाराज हो गए। उनकी गुट ने विरोध जताया और बातचीत हाथापाई में बदल गई। सूत्रों के मुताबिक, सुमित सिंह के समर्थकों ने उनके पक्ष में जोरदार नारे लगाए, जिससे संजय प्रसाद का पक्ष भड़क गया। दोनों तरफ के कार्यकर्ता आपस में भिड़ गए, और सम्मेलन का माहौल गरम हो गया।

    पुलिस ने स्थिति संभाली

    हंगामा बढ़ते ही मंच पर मौजूद NDA नेताओं ने शांति की अपील की, लेकिन कार्यकर्ता नहीं माने। तनाव देखकर पुलिस फोर्स तुरंत सक्रिय हो गई। मौके पर पहुँची पुलिस ने दोनों पक्षों को अलग किया और समझा-बुझाकर विवाद शांत कराया। वरिष्ठ अधिकारी भी घटनास्थल पर पहुँचे और हालात का जायजा लिया।

    एक अधिकारी ने बताया कि मामला आपसी बहस से शुरू हुआ था, लेकिन समर्थकों की उग्रता से मारपीट हो गई। फिलहाल, कोई FIR दर्ज नहीं हुई है, लेकिन पुलिस जांच कर रही है। घटना के वीडियो में साफ दिख रहा है कि कार्यकर्ता एक-दूसरे पर हमला करने को उतारू थे।

    चकाई सीट की राजनीति में खींचतान

    चकाई विधानसभा सीट बिहार की राजनीति में हमेशा से हॉट सीट रही है। सुमित सिंह ने निर्दलीय के तौर पर जीत हासिल की और NDA सरकार में मंत्री पद पाकर मजबूत स्थिति बना ली। वहीं, संजय प्रसाद JD(U) के पुराने कार्यकर्ता हैं और पार्टी में उनका प्रभाव है। सम्मेलन का उद्देश्य कार्यकर्ताओं को एकजुट करना था, लेकिन ये घटना NDA के भीतर की खींचतान को उजागर कर रही है।

    स्थानीय लोग कहते हैं कि चकाई में गुटबाजी पुरानी समस्या है, जो अब खुलकर सामने आ गई। विपक्षी दल इस मौके का फायदा उठाने की कोशिश कर रहे हैं। JD(U) और निर्दलीय के बीच ये टकराव बिहार चुनावों से पहले सियासत को प्रभावित कर सकता है।

    वायरल वीडियो से मचा हड़कंप

    घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से फैल गया है। इसमें समर्थक नारेबाजी करते दिख रहे हैं, और फिर मारपीट का नजारा है। NDA नेताओं ने इसे आंतरिक मामला बताते हुए कहा कि जल्द सुलझ जाएगा। लेकिन ये वीडियो बिहार की राजनीति में नया विवाद खड़ा कर रहा है। सुमित सिंह और संजय प्रसाद के बीच ये टकराव क्या बड़ा रूप लेगा? या दोनों पक्ष शांति से समझौता करेंगे? स्थानीय कार्यकर्ता उम्मीद कर रहे हैं कि ये विवाद न फैले।

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