बालाघाट, राष्ट्रबाण। जिला निर्वाचन अधिकारी व बालाघाट कलेक्टर गिरीश कुमार मिश्रा का गैर जिम्मेदार रवैये के साथ साथ दोहरा चेहरा सामने आया है। जिनकी एक बड़ी लापरवाही के चलते जिले के सैकड़ो शासकीय कर्मचारी लोकसभा चुनाव मे मतदान करने से वंचित हो गए। क्यूंकि उन्हें जिला निर्वाचन अधिकारी गिरीश कुमार मिश्रा के द्वारा ईडीसी पत्र ही जारी नहीं किया गया, जिसके चलते ही कई शासकीय अधिकारी लोकतंत्र के महापर्व मे अपने अमूल्य मताधिकार की आहुति देने से वंचित हो गए। जानकारी के अनुसार चुनाव ड्यूटी मे लगे कर्मचारियों को मतदान के पूर्व ईडीसी पत्र जारी करने का अधिकार सिर्फ जिला निर्वाचन अधिकारी को ही होता है।
आपको बता दे, जिला प्रशासन द्वारा विविध कार्यक्रमो के तहत मतदान के प्रति जागरूकता सन्देश दिया गया था और लोगो से अपील की गई थी कि सारे क़ाम छोड़कर सबसे पहले मतदान करे। लेकिन इस बार लोकसभा के चुनाव मे बालाघाट सिवनी संसदीय क्षेत्र मे जिला निर्वाचन अधिकारी बालाघाट कलेक्टर गिरीश कुमार मिश्रा के तमाम प्रयासों के बाद भी वोटिंग प्रतिशत 73% रहा। जहाँ पिछले चुनाव की तुलना मे इस बार 4% वोटिंग प्रतिशत मे गिरावट आई, जिसके लिए कही ना कही कलेक्टर गिरीश मिश्रा जिम्मेदार माने जा रहे है। यदि कर्मचारीयों के मतदान रेसो मे कमी स्पष्ट होती है तो उसके भी जिम्मेदार कलेक्टर गिरीश मिश्रा होंगे। अब ऐसे मे एक सवाल यह उठता है कि क्या निर्वाचन आयोग, बालाघाट जिला निर्वाचन अधिकारी की निष्क्रियता और अधिकारियो को ईडीसी पत्र जारी करने मे बरती गई लापरवाही के मामले को संज्ञान मे लेकर कलेक्टर गिरीश कुमार मिश्रा के खिलाफ कार्यवाही करेंगे? या फिर अधिकारियो को अपने मताधिकार से वंचित रखने वाले बालाघाट जिला निर्वाचन अधिकारी को सम्मानित किया जायेगा।
आपको बता दे की कुछ माह पूर्व हुए विधानसभा चुनाव मे शासकीय कर्मचारियों के मत से ही बहुत से प्रत्याशीयो की किस्मत सिर्फ कुछ वोटो के अंतर से बदल गयी थी इसलिए वर्तमान मे हुए लोकसभा चुनाव मे अपने मताधिकार से वंचित हुए सैकड़ो शासकीय कर्मचारियों के मामले को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता l
Balaghat News : बालाघाट जिले के सैकड़ो कर्मचारी वोट करने से रह गए वंचित

Highlights
- सैकड़ो शासकीय कर्मचारियों को नहीं हुआ ईडीसी पत्र जारी
- कर्मचारी के मतदान मे आई कमी के लिए जिम्मेदार होंगे कलेक्टर?
- क्या आयोग करेगा बालाघाट कलेक्टर पर कार्यवाही!