सिवनी, राष्ट्रबाण। जिला मुख्यालय में इन दोनों सुर्खियां बना बिजली कंपनी का स्मार्ट मीटर जैसे ही स्मार्ट मीटर की स्थापना के बाद उपभोक्ताओं को बिजली बिल से जुड़ी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। नए स्मार्ट मीटर सिस्टम से बिल की जानकारी प्राप्त करने में कठिनाई आ रही है। इससे बिल भुगतान की प्रक्रिया में भी बाधा उत्पन्न हो रही है। स्थानीय निवासियों में इस नई व्यवस्था को लेकर असंतोष की स्थिति बन गई है। उपभोक्ताओं का कहना है कि पुराने मीटर से बिल की जानकारी आसानी से मिल जाती थी, लेकिन नए सिस्टम में यह प्रक्रिया जटिल हो गई है। बिजली विभाग को इस समस्या के समाधान के लिए तत्काल कदम उठाने की आवश्यकता है।
साथ ही उपभोक्ताओं का आरोप है कि बिजली का बिल दोगुना हो गया है। इसको लेकर उपभोक्ता काफी परेशान हैं। पहले जिन लोगों का मासिक बिजली बिल 350 से 500 रुपये आता था। अब दोगुना हो गया है। इसको लेकर उपभोक्ता जब विभाग में शिकायत कर रहे हैं तो वहां से जवाब मिल रहा है कि स्मार्ट मीटर में कोई गड़बड़ी नहीं है। बिजली की खपत के अनुसार ही बिल तैयार किया जाता है।
सामान्य मीटर में भी विभाग की ओर से यह व्यवस्था दी गई है कि उपभोक्ता स्वयं से मीटर की रीडिंग कर बिल तैयार कर सकते हैं। हालांकि विभाग के कोशिशों के बाद भी उपभोक्ताओं में स्मार्ट मीटर को लेकर असंतोष है। क्षेत्र के हजारों विद्युत उपभोक्ता हैं। इसमें 40% घरों और प्रतिष्ठानों पर स्मार्ट मीटर लगाए गए हैं।
अधिक बिल आने की शिकायत करने वाले उपभोक्ता ने बताया कि पहले बिल 300 रुपये तक बिजली बिल आता था। स्मार्ट मीटर लगने के बाद लगभग 1200 रुपये प्रति माह बिल हो जा रहा है। और कहा कि इसकी शिकायत मै प्रति मंगलवार होने वाली कलेक्टर जनसुनवाई में इसकी शिकायत करूंगा।
स्मार्ट मीटर से पुराने मीटर की तुलना में बिल चार गुना तक बढ़ा
स्थानीय उपभोक्ताओं का कहना है कि पहले जहां उनका मासिक बिजली बिल 300 से 500 रुपये के बीच आता था, वहीं अब यह बढ़कर 1000 से 1200 रुपये तक पहुंच गया है। कई उपभोक्ताओं ने कहा कि स्मार्ट मीटर लगने के बाद बिल चार गुना तक हो गया है, जबकि बिजली की खपत में कोई विशेष बदलाव नहीं आया।
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