भोपाल, राष्ट्रबाण। एक तरफ भाजपा अपराध मुक्त शासन की बात करती है, महिला सुरक्षा में अपने सुशासन की पीठ थपथपाती है तो दूसरी तरफ उसके नेता दलित महिला से बलात्कार के आरोपी की सदस्यता रद्द करने में कतरा रही है तो कार्यक्रम में महिला के साथ घिनौने कृत्य करने वाले आरोपी को साथ में बैठा कर तस्वीर सोशल मीडिया में शेयर कर रहे है।
भाजयुमो के प्रदेश अध्यक्ष वैभव पावर द्वारा संगठन के जिला अध्यक्ष चयन प्रक्रिया से पहले बेनगंगा यात्रा कर अपना चेहरा चमकना चाहते थे। लेकिन उनके इस कार्यक्रम के समापन में दलित महिला से बलात्कार के आरोपी भूपेंद्र सुहागपुरे की शिरकत ने पूरे कार्यक्रम को कलंक से रंग दिया है।
समापन कार्यक्रम में मुंडारा पहुंचे दलित महिला से बलात्कार के आरोपी भूपेंद्र सुहागपुरे को लेकर भाजपा की चाल चरित्र पर अब लोग सवाल कर रहे है कि भाजपा का असली चेहरा क्या है? एक तरफ भाजपा अपने संगठन में अपराधियों से दूर रखने के लिए नियम बना रही है और प्रदेश व देश में महिला सुरक्षा को लेकर अपने सुशासन की ढींगे हांकते हुए अपनी पीठ थपथपा रही है। तो दूसरी तरफ भाजपा के भाजयुमो प्रदेश अध्यक्ष वैभव पावर दलित महिला से बलात्कार के आरोपी को अपनी बराबरी में बैठा कर महिला के प्रति उनकी पार्टी द्वारा महिला सुरक्षा की दंभ को तोड़ रहे है।
बता दें कि 15 दिसंबर 2024 से भाजयुमो प्रदेश अध्यक्ष वैभव पावर ने मां वैनगंगा दर्शन एवं अध्ययन यात्रा का शुभारंभ किया जिसका समापन 30 दिसंबर 2024 को किया। समापन कार्यक्रम में आसपास के भाजपाई वो भाजयुमो के कार्यकर्ताओं को बुलाया । इस कार्यक्रम में बालाघाट के पूर्व भाजयुमो जिलाध्यक्ष और दलित महिला शिक्षिका से बलात्कार का आरोपी भूपेंद्र सुहागपुरे की उपस्थिति ने कार्यक्रम को चर्चाओं में ला दिया। कार्यक्रम में भूपेंद्र सुहागपुरे को वैभव पावर के समक्ष बैठाने वाली तस्वीरें वायरल हुई तो लोगों में यह चर्चा तेज हो गई कि भाजपा में महिला सुरक्षा की बाते सिर्फ हवा हवाई है इस पार्टी में महिला से उत्पीड़न के आरोपियों को इज्जत और सम्मान दिया जाता है। उन्हें पार्टी के नेता मंच और अपने समक्ष बैठा कर गौरांवित महसूस करते है। बता दें कि भूपेंद्र पर दलित महिला शिक्षिका ने शादी का झांसा दे कर शारीरिक संबंध बनाने का आरोप लगाया है। जिसके बाद भूपेंद्र को भाजयुमो के जिलाध्यक्ष पद से इस्तीफा देना पड़ा था।
वैभव पावर के साथ भूपेंद्र की तस्वीर वायरल होने के बाद से यह चर्चा तेज हो गई है कि भाजपा सिर्फ महिलाओं को वोट बैंक का जरिया मानती है उनका अपमान करने वाले को वह निष्कासन भी नहीं करती और कार्यक्रम में उन्हें मान सम्मान दे कर ऐसे कृत्य को अंजाम देने वालों को संरक्षण देती है। भूपेंद्र पर मामला दर्ज होने के बाद पुलिस पर लापरवाही और नेताओं के संरक्षण होने के आरोप लगे थे।
भाजपा की दोहरी नीति
भाजपा भले ही अपराधियों को संरक्षण न देने की बात करती है लेकिन सच्चाई इसके विपरीत है। एक तरफ महिलाओं के द्वारा अगर कोई अपराध में संलिप्ता पाई जाती है तो भाजपा बिना देरी करे उस पर कार्यवाही करती है उसे प्राथमिक सदस्यता से निष्काशित करती है तो दूसरी तरफ महिला उत्पीड़न और शादी का झांसा देने वाले झांसाराम भूपेंद्र पर मेहरबानी दिखाती है। बता दें पांच माह पूर्व महिला मोर्चा की नगर अध्यक्ष सरिता बिसेन पर बच्चे के अपहरण का मामला दर्ज हुआ था जिसके बाद उसे 24 घंटे के भीतर जिलाध्यक्ष द्वारा पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से निष्कासित कर दिया गया था लेकिन वहीं दलित महिला से बलात्कार के आरोपी भूपेंद्र पर जिलाध्यक्ष मेहरबान बने हुए है। ज्ञात हो कि प्रकरण पर भाजपा के जिलाध्यक्ष रामकिशोर कावरे थे । लेकिन जिलाध्यक्ष रामकिशोर की दोहरी नीति के चलते एक तरफ महिला मोर्चा की नगर अध्यक्ष सरिता बिसेन पर तत्काल एक्शन लेते हुए पार्टी से बाहर कर दिया गया तो दूसरी तरफ दलित महिला से बलात्कार के आरोपी को निष्कासन करने की बजाय समक्ष बैठा कर पार्टी के नेता सम्मान दे रहे है।