फडणवीस के मंत्री ने किया ऐलान
छत्रपति संभाजीनगर. राष्ट्रबाण।
औरंगजेब के मकबरे को लेकर विवाद के बीच छत्रपति संभाजीनगर के जिला संरक्षक मंत्री संजय शिरसाट ने कहा कि खुलताबाद का नाम बदलकर रत्नापुर कर दिया जाएगा। छत्रपति संभाजीनगर से करीब 30 किलोमीटर दूर स्थित खुलताबाद में मुगल बादशाह औरंगजेब का मकबरा है, जो अब विवाद के केंद्र में है क्योंकि दक्षिणपंथी समूह इसे हटाने की मांग कर रहे हैं। शिरसाट ने संवाददाताओं से कहा कि छत्रपति संभाजीनगर को पहले खड़की के नाम से जाना जाता था, लेकिन इसका नाम बदलकर औरंगाबाद कर दिया गया। इसी तरह, खुल्ताबाद को पहले रत्नापुर के नाम से जाना जाता था, लेकिन औरंगजेब ने इसका नाम खुल्ताबाद रख दिया। हम ऐसे सभी स्थानों का नाम बदलने की प्रक्रिया में हैं, जिनके नाम औरंगजेब ने बदले थे।
मंत्रीजी ने यह भी कहा
औरंगजेब, उसके बेटे आजम शाह, निजाम आसफ जाह और कई अन्य लोगों की कब्रें इस इलाके में स्थित हैं। पिछले महीने शिरसाट ने कहा था कि छत्रपति संभाजी महाराज को यातनाएं देने और उन्हें मार डालने वाले क्रूर सम्राट औरंगजेब की कब्र के लिए महाराष्ट्र में कोई जगह नहीं है। पिछले महीने शिरसाट ने कहा था कि छत्रपति संभाजी महाराज को यातनाएं देने और उनकी हत्या करने वाले क्रूर सम्राट औरंगजेब की कब्र के लिए महाराष्ट्र में कोई जगह नहीं है। पत्रकारों से बात करते हुए शिरसाट ने कहा कि छत्रपति संभाजीनगर को पहले खड़की के नाम से जाना जाता था और बाद में इसका नाम बदलकर औरंगाबाद कर दिया गया।
पक्ष में यह तर्क दिया
छत्रपति संभाजीनगर जिले के संरक्षक मंत्री ने कहा कि हम उन सभी स्थानों के नाम बदलने की प्रक्रिया चला रहे हैं जिनके नाम में ‘बद’ (जैसे औरंगाबाद) है। औरंगजेब के शासन के दौरान रत्नापुर का नाम बदलकर खुल्ताबाद कर दिया गया था।” शिरसाट ने कहा कि सरकार वहां (खुल्ताबाद में) एक स्मारक बनाने के बारे में सकारात्मक है, जो छत्रपति शिवाजी महाराज और उनके बेटे संभाजी महाराज के इतिहास को प्रदर्शित करेगा।